सभी जानते हैं कि साइक्लिंग जैसी शारीरिक गतिविधि नियमित तौर पर करने से कई गंभीर बीमारियों से बचा जा सकता है। हर कोई अपने रोजाना के रुटीन में यह मजेदार और कम इम्पैक्ट वाली साइक्लिंग एक्सरसाइज आसानी से शामिल कर सकता है। वल्र्ड बाइसिकल डे पर एण्डटीवी के कलाकार बता रहे हैं कि फिट रहने में साइक्लिंग से उन्हें किस तरह फायदे मिलते हैं। इन कलाकारों में शामिल हैं आरजे मोहित (मनोज, ‘दूसरी माँ’), आर्यन प्रजापति (ऋतिक सिंह, ‘हप्पू की उलटन पलटन’) और आसिफ शेख (विभूति नारायण मिश्रा, ‘भाबीजी घर पर हैं’)। एण्डटीवी के शो ‘दूसरी माँ‘ में मनोज की भूमिका निभा रहे आरजे मोहित ने बताया, ‘‘मुझे साइकिल चलाने और पेडलिंग का जुनून है और मैं एक पेशेवर साइकलिस्ट हूँ और साइक्लिंग मैराथन और रेस में भाग भी लेता हूँ। साइक्लिंग की मेरे फिटनेस रेजिम में एक महत्वपूर्ण भूमिका है। मैं हर सुबह अपने दिन की शुरूआत अपनी साइकिल पर सवार होकर करता हूँ और अक्सर कहीं आने-जाने के लिये जरूरत पड़ने पर उसका भरोसा करता हूँ। शुरूआत में मैंने अपनी फिजिकल फिटनेस को बनाये रखने के लिये साइक्लिंग की, लेकिन वक्त गुजरने के साथ यह मेरे लिये काफी महत्व्पूर्ण हो गई, किसी थेरैपी की तरह। जब मैं साइकिल चलाता हूँ, तब मेरा तनाव और चिंता दूर हो जाती है और मुझे खुशी और संतोष मिलता है। साइकिल चलाने से मेरा ध्यान बना रहता है और मौजूदा पल को लेकर मेरी जागरूकता बढ़ जाती है, चाहे आगे की सड़क पर ध्यान देना हो या स्थिर लय बनाये रखनी हो। मैं साइकिल पर आसानी से 50 किलोमीटर से भी ज्यादा चल सकता हूँ और मेरा मौजूदा लक्ष्य है अपनी क्षमताओं और सहनषक्ति को बढ़ाते रहना।’’
‘हप्पू की उलटन पलटन‘ के ऋतिक सिंह, यानि आर्यन प्रजापति ने बताया, ‘‘ साइक्लिंग सेहत और तंदुरुस्ती पाने के बेहतरीन तरीकों में से एक है। इससे स्टेमिना, ताकत और एरोबिक क्षमता किसी भी दूसरी कसरत के मुकाबले बेजोड़ तरीके से बढ़ती है। साइक्लिंग से मिलने वाली खुशी का तो कोई सानी ही नहीं है। मुझे मेरी पहली साइकिल तोहफे के तौर पर अपने पैरेंट्स से मिली थी और अब तक ऐसा कोई दिन नहीं जाता है, जब मैं उसे न चलाऊं। मुझे साइकिल चलाना इतना पसंद है कि मैं इसे कभी-कभी सेट पर भी ले आता हूँ। मैं मौज-मस्ती के लिये हमारे नायगांव सेट के बाहर ज़ारा वारसी (चमची) और सौम्या आजाद (रणबीर) के साथ खुशनुमा राइड पर निकल जाता हूँ। मुझे खेलों से बहुत लगाव है और मैं अपनी भरोसेमंद साइकिल पर सवार होकर अपने मोहल्ले में भी घूमता रहता हूँ। साइक्लिंग के फायदे निजी सेहत से कहीं बढ़कर होते हैं; इसके आर्थिक और पर्यावरण वाले फायदे भी हैं। साइकिल को चुनकर आप पैसा बचाते हैं, तंदुरुस्ती बनाये रखते हैं, ईंधन की जरूरत को खत्म करते हैं और सड़क पर दुर्घटना या टक्कर होने की संभावना कम करते हैं। साइक्लिंग अच्छी सेहत पाने का एक संपूर्ण तरीका है और इससे जिन्दगी के कई पहलूओं में फायदा मिलता है।’’ ‘भाबीजी घर पर हैं‘ के विभूति नारायण मिश्रा, यानि आसिफ शेख ने बताया, ‘‘यह अच्छी बात नहीं है कि मेरी उम्र के कई लोग साइकिल को सिर्फ बच्चों के खेलने की चीज मानकर नकारते हैं और इससे मिलने वाले शारीरिक और मनोवैज्ञानिक फायदों को नहीं समझते हैं। हालांकि साइकिल चलाना अपनी रोजाना की जिन्दगी में नियमित कसरत को आसानी से शामिल करने के सबसे प्रभावी तरीकों में से एक है। साइक्लिंग से न सिर्फ मसल बनाने और मेटाबोलिज्म बढ़ाने में मदद मिलती है, बल्कि कई बीमारियों का जोखिम भी कम होता है। इसलिये मैं जब भी संभव हो, साइकिल पर सवार होकर पेडल चलाता हूँ। यह सेहत और मजा देने वाली कम इम्पैक्ट की एक कसरत है, जो हर उम्र के इंसान के लिये अच्छी है। इसके अलावा, साइक्लिंग रोजाना के परिवहन का एक व्यावहारिक माध्यम हो सकती है।’’