‘भाबीजी घर पर हैं‘ के सेट पर आसिफ और शुभांगी की ‘पान पार्टी‘

एण्डटीवी का ‘भाबीजी घर पर हैं‘ हंसाने वाली और मजेदार कहानियों से लगातार अपने दर्शकों का भरपूर मनोरंजन कर रहा है। इसके किरदार हर बार हास्यप्रद स्थितियों में खुद को फंसा हुआ पाते हैं, जो दर्शकों के चेहरों पर हमेशा मुस्कुराहट बिखेरता है। इस शो में जल्द ही दर्शकों को एक बेहद मजेदार कहानी देखने को मिलेगी, जिसमें विभूति नारायण मिश्रा (आसिफ शेख) और अंगूरी भाबी (शुभांगी अत्रे) को ‘पान‘ खाने की लत लग गई है। उनकी इस आदत से माॅडर्न काॅलोनी में हंसाने वाली गड़बड़ियां देखने को मिलेंगी। शूटिंग के दौरान इन दोनों ही कलाकारों को अपना मुंह लाल रखना था और इसके लिये उन्होंने तरह-तरह के पान खाये, जिससे सेट पर पान पार्टी होती थी।

‘पान खायें सैय्यां‘ की इस मजेदार कहानी पर आसिफ शेख ने अपनी खुशी का इजहार करते हुये कहा, ‘‘हमारा मकसद हमेशा से मजेदार कहानियों के जरिये अपने दर्शकों को खुश करने का रहा है। कहानी के आने वाले हिस्से में विभूति एक पान देखकर ललचा जाता है और अंगूरी (शुभांगी अत्रे) भी इसमें शामिल हो जाती है। इस पर अनीता (विदिशा श्रीवास्तव) और तिवारी (रोहिताश्व गौड़) हैरान हो जाते हैं। जब वे पान थूंकते हैं, तब पूरी माॅडर्न काॅलोनी में बड़ी गड़बड़ी होने लगती है। इस गड़बड़ी के बावजूद यह सीक्वेंस शूट करना धमाकेदार रहा। अपने किरदारों को निभाने के लिये हमने पान के लाल रंग से अपने मुंह और दांतों को रंग लिया। पूरे सीन में शुभांगी और मैंने कई पान खाये, ताकि अपने किरदारों में ठीक से ढल सकें। मुझे पान का कोई ज्यादा शौक नहीं है, लेकिन सेट पर उससे बचा भी नहीं जाता है। आश्चर्य की बात यह है कि इतने पान खाने के बाद मेरी उत्सुकता बढ़ गई है और मैं भविष्य में भी पान आजमाने से परहेज नहीं करूंगा। मैं जल्दी ही वाराणसी जा रहा हूँ, जोकि बनारसी पान के लिये मशहूर है। इस बार मैं बनारसी पान को आजमाने का बेसब्री से इंतजार कर रहा हूँ।’’ शुभांगी अत्रे ने कहा, ‘‘जब हमारे डायरेक्टर ने कहा कि हमें शूटिंग के पूरे दिन अपने मुंह लाल रखने हैं, तब शुरू में मुझे थोड़ा शक हुआ। लेकिन जैसे ही मेरे हाथ में पान आया, मैं उसकी पेचीदा बनावट पर फिदा हो गई, जिसके भीतर कई स्वाद थे। इंदौर में मैंने अपने दोस्तों के साथ पान का मजा लिया था, खासकर मीठा पान। इसलिये मैं जिद करने लगी कि हमारा क्रू वैसा ही इंतजाम करे। फिर पान को चखते ही मुझे मीठे गुलकंद, मसालों और सौंफ का संतोषजनक अनुभव हुआ। सुपारी का कड़वापन भी स्वाद को अनोखा बना रहा था। वह स्वाद का एक साधारण लगने वाला, लेकिन बेजोड़ धमाका था और मुझे बीते दिनों की याद आ गई। आसिफ जी (विभूति नारायण मिश्रा) और मैंने जमकर धमाल किया। हम पान चबाते हुए आशा भोसले के सदाबहार बाॅलीवुड गाने ‘पान खाये सैय्यां हमार ओ’ पर नाचे। हम हमेशा से अपने दर्शकों का ताजगी से भरे और दिलचस्प कंटेन्ट से मनोरंजन करना चाहते हैं। इसके लिये काफी सोच-विचार किया जाता है, मनोरंजक कहानियां गढ़ी जाती हैं और मनोरंजक किरदार बनाये जाते हैं। मुझे उम्मीद है कि हमारे दर्शक इस कहानी का उतना ही मजा लेंगे, जितना हमें इसकी शूटिंग में आया है।’’

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